गुरुवार, 5 सितंबर 2013

आइये आज कुछ अच्छा किया जाये !


शिक्षक दिवस पर
सोच रहा हूँ आज
थोड़ा सा संजीदा
हो लिया जाये
किसी तरह  से
की जा रही
बकवास से
कुछ देर के
लिये ही सही
किनारा कर
लिया जाये
पहुँचा हूँ आज
जिस मुकाम पर
उसपर कुछ मनन 
कर लिया जाये
ईश्वर तुल्य गुरु
मिले हों जिन्हें
ऎसे  कुछ भाग्यशाली
शिष्यों  पर गर्व 
कर लिया जाये
दिशा दी थी कभी
जिन्होंने समझ
बूझ कर कुछ हमें
अपने उन सभी
गुरूओं को एक दिन
के लिये ही सही
याद तो कर लिया जाये
भटकना उबड़ खाबड़
रास्तों में चलते चलते
लाजमी होना कुछ देर के
लिये मान भी लिया जाये
कोशिश एक बार कर के
अपने दिशा यंत्रों को
ठीक कर लिया जाये
क्या पता किसी की
समझ में सही समय पर
ये बात आ ही जाये
रास्ते पर चलते चलते
चलने वाले से सही
रास्ते का पता ही
पूछ लिया जाये
किताबों को खा रहे
कीडो़ को अल्विदा
कह दिया जाये
धूल कपडे़ से झाड़ कर
पुराने जिल्द को
बदल ही दिया जाये
क्या पता कोई
भूला भटका कभी
कुछ पूछने के
लिये ही चला आये
निराशा हो सकती है
किसी को भी
कभी भी कहीं भी
उसी में से खींच कर
आशा का संचार
कर लिया जाये
सबकुछ ऎसे ही
नहीं चलेगा
हमेशा के लिये
फूटेंगी कोपलें
नये फूलों के लिये
पुराने सूखे हुऎ
फूलों की पत्तियों
का आसवन ही
कर लिया जाये
आज शिक्षक दिवस पर
क्यों ना पुनर्जीवित
होने के सपने देखने
का एक प्रण ही
कर लिया जाये ।

9 टिप्‍पणियां:

  1. अच्छे खासे गुरू जी, अच्छा खासा नाम |
    मिला ज्ञान विज्ञान है, रविकर करे प्रणाम |||

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  2. सच में कुछ अच्छा करना ही चाहिए.. शिक्षक दिवस की बहुत बहुत बधाई.सुशील जी

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  3. अत्यन्त हर्ष के साथ सूचित कर रही हूँ कि
    आपकी इस बेहतरीन रचना की चर्चा शुक्रवार 06-09-2013 के .....सुबह सुबह तुम जागती हो: चर्चा मंच 1361 ....शुक्रवारीय अंक.... पर भी होगी!
    सादर...!

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  4. आपकी उत्कृष्ट प्रस्तुति का लिंक लिंक-लिक्खाड़ पर है ।। त्वरित टिप्पणियों का ब्लॉग ॥

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  5. बहुत सुन्दर सोच...
    शिक्षक दिवस पर शुभकामनायें... !!

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  6. आपके इस सोच में हमें भी शामिल जानिये।
    सुंदर प्रस्तुति शिक्षक दिवस पर।

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