उलूक टाइम्स

"बर्बाद गुलिस्ताँ करने को बस एक ही उल्लू काफ़ी था हर शाख़ पे उल्लू बैठा है अंजाम-ए-गुलिस्ताँ क्या होगा " :- शौक़ बहराइची

पाँडव लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं
पाँडव लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं
रविवार, 27 अप्रैल 2014

कुछ दिन के लिये ही मान ले हाथ में है और एक कीमती खिलौना है

›
आज को भी कल के लिये एक कहानी ही होना है ना उसमें कोई राम होना है ना किसी रावण को होना है हनुमान दिख रहे चारों तरफ पर उन्हे भी कौन सा एक हन...
7 टिप्‍पणियां:
सोमवार, 22 अप्रैल 2013

टीम

›
कल एक मकसद फिर सामने से नजर आ रहा है दल बना इसके लिये समझा बुझा रहा है बहुत से दल बनते हुऎ भी नजर आ रहे हैं इस बार लेकिन इधर के क...
3 टिप्‍पणियां:
›
मुख्यपृष्ठ
वेब वर्शन देखें
मेरी फ़ोटो
सुशील कुमार जोशी
Almora, Uttarakhand, India
ना कविता लिखता हूँ ना कोई छंद लिखता हूँ अपने आसपास पड़े हुऎ कुछ टाट पै पैबंद लिखता हूँ ना कवि हूँ ना लेखक हूँ ना अखबार हूँ ना ही कोई समाचार हूँ जो हो घट रहा होता है मेरे आस पास हर समय उस खबर की बक बक यहाँ पर देने को तैयार हूँ ।
मेरा पूरा प्रोफ़ाइल देखें
Blogger द्वारा संचालित.