लिखना लिखाना
ठीक है
सब लिखते हैं
लिखना भी
जरूरी है
सही है
गलत
कुछ कहीं
वैसे भी
होता ही नहीं है
वहम है
है कह लेने में
कोई बेशर्मी
भी नहीं है
कुछ
लेखक होते हैं
पैदायशी होते हैं
बुरा भी नहीं है
कुछ
लेखक पैदा
नहीं होते है
माहौल
बना देता है
क्या किया
जा सकता है
कहना
नहीं चाहिये
कहना भी नहीं है
परेशानी
बकवास
करने वाले
के लिये है
बकबक
लिख लिखा कर
लेखकों की
भीड़ के बीच में
खो जाना
बहुत
बुरी बात है
समझ में
आने के दिन
आ जाने चाहिये
कई
सालों तक
इस तरह
भटकना
ठीक
भी नहीं है
गालियाँ
पड़ती हैं
अच्छा है
पड़नी भी
जरूरी हैं
किसने
कहा होता है
औकात
के बाहर
निकल कर
समझाना
बेबात में बात को
हर किसी की
समझ की
सीमा है
समझाने वाला
बेसमझ
नहीं है
किससे
पूछा जाये
समझने
समझाने की
किताबें
भी नहीं हैं
‘उलूक’
बकवास
करने में
बुराई
कुछ नहीं है
बकवास कर
लिख लिखा
देने से अच्छा
कुछ नहीं है
लिखा लिखाया
देख कर
किताब
हो जाने का
वहम हो जाये
बुरी बात है
इससे
निकल जाना
सबसे
अच्छी बात है
सालों
लग भी गये
कोई
नयी बात
भी नहीं है
देर आयद दुरुस्त आयद
सटीक मुहावरा है
वहम
टूटने
के लिये
ही होते हैं
टूट जाये
अच्छा है
बने रहना
बस
इसी एक का
अच्छा नहीं है
और
बिल्कुल
भी नहीं है ।
चित्र साभार: https://in.one.un.org
ठीक है
सब लिखते हैं
लिखना भी
जरूरी है
सही है
गलत
कुछ कहीं
वैसे भी
होता ही नहीं है
वहम है
है कह लेने में
कोई बेशर्मी
भी नहीं है
कुछ
लेखक होते हैं
पैदायशी होते हैं
बुरा भी नहीं है
कुछ
लेखक पैदा
नहीं होते है
माहौल
बना देता है
क्या किया
जा सकता है
कहना
नहीं चाहिये
कहना भी नहीं है
परेशानी
बकवास
करने वाले
के लिये है
बकबक
लिख लिखा कर
लेखकों की
भीड़ के बीच में
खो जाना
बहुत
बुरी बात है
समझ में
आने के दिन
आ जाने चाहिये
कई
सालों तक
इस तरह
भटकना
ठीक
भी नहीं है
गालियाँ
पड़ती हैं
अच्छा है
पड़नी भी
जरूरी हैं
किसने
कहा होता है
औकात
के बाहर
निकल कर
समझाना
बेबात में बात को
हर किसी की
समझ की
सीमा है
समझाने वाला
बेसमझ
नहीं है
किससे
पूछा जाये
समझने
समझाने की
किताबें
भी नहीं हैं
‘उलूक’
बकवास
करने में
बुराई
कुछ नहीं है
बकवास कर
लिख लिखा
देने से अच्छा
कुछ नहीं है
लिखा लिखाया
देख कर
किताब
हो जाने का
वहम हो जाये
बुरी बात है
इससे
निकल जाना
सबसे
अच्छी बात है
सालों
लग भी गये
कोई
नयी बात
भी नहीं है
देर आयद दुरुस्त आयद
सटीक मुहावरा है
वहम
टूटने
के लिये
ही होते हैं
टूट जाये
अच्छा है
बने रहना
बस
इसी एक का
अच्छा नहीं है
और
बिल्कुल
भी नहीं है ।
चित्र साभार: https://in.one.un.org