खीज मत
कुछ खींच
मुट्ठियाँ भींच
मूल्य पढ़ा
मौका पा
थोड़ा सा
बेच भी आ
ना कर
पाये व्यक्त
ना दे सके
अभिव्यक्ति
ऐसी निकाल
कुछ युक्ति
मूल्यों के
जाल बना
जालसाजी
मूल्यों का
मूल है पढ़ा
कर फंसा
झूठ पर
कपड़ा चढ़ा
चमकीला दिखा
गाँधी जैसों
की सोच पर
आग लगा
जमाने के
साथ चल
चाँद तारे
पा लेने
के लिये
मचल
औकात कुछ
नहीं होती
मिले तो
ताली पीट
ना मिले
बजा दे
ईंट से ईंट
आराम से
टेक लगा
चंदन टीका
लगा देख कर
नेक बता
आईने
घर के
सारे छिपा
ठेका ले
ईमानदारी की
प्रयोगशाला चला
प्रयोग मत कर
सीधे
परीक्षाफल बता
काला कौआ
देख कर आ
सफेद कबूतर
के आने की
खबर बना
शंका
करे कोई
नाम
बदल दिया
गया है का
सरकारी
आदेश दिखा
‘उलूक’
सब सीधा
चल रहे हैं
अपनी
आँखें
कर ही ले
अब ठीक
नहीं दिखे
अगर सीधे
सब कुछ
थोड़ी देर
उल्टा
लटक कर
कोशिश कर
सही
और सीधा
कभी तो
देख ढीट ।
चित्र साभार: http://shopforclipart.com
कुछ खींच
मुट्ठियाँ भींच
मूल्य पढ़ा
मौका पा
थोड़ा सा
बेच भी आ
ना कर
पाये व्यक्त
ना दे सके
अभिव्यक्ति
ऐसी निकाल
कुछ युक्ति
मूल्यों के
जाल बना
जालसाजी
मूल्यों का
मूल है पढ़ा
कर फंसा
झूठ पर
कपड़ा चढ़ा
चमकीला दिखा
गाँधी जैसों
की सोच पर
आग लगा
जमाने के
साथ चल
चाँद तारे
पा लेने
के लिये
मचल
औकात कुछ
नहीं होती
मिले तो
ताली पीट
ना मिले
बजा दे
ईंट से ईंट
आराम से
टेक लगा
चंदन टीका
लगा देख कर
नेक बता
आईने
घर के
सारे छिपा
ठेका ले
ईमानदारी की
प्रयोगशाला चला
प्रयोग मत कर
सीधे
परीक्षाफल बता
काला कौआ
देख कर आ
सफेद कबूतर
के आने की
खबर बना
शंका
करे कोई
नाम
बदल दिया
गया है का
सरकारी
आदेश दिखा
‘उलूक’
सब सीधा
चल रहे हैं
अपनी
आँखें
कर ही ले
अब ठीक
नहीं दिखे
अगर सीधे
सब कुछ
थोड़ी देर
उल्टा
लटक कर
कोशिश कर
सही
और सीधा
कभी तो
देख ढीट ।
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